रेप केस मामले में राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी के सांसद प्रिंस राज की मुश्किलें बढ़ती नजर आ रही हैं। सासंद को इस मामले में दिल्ली के जिला कोर्ट से जमानत मिल गई थी। अब रेप मामले में पीड़िता ने जिला कोर्ट के जमानत के खिलाफ हाई कोर्ट में याचिका दायर की है।
हाईकोर्ट ने प्रिंस राज से मांगा जवाब
हाईकोर्ट में जमानत के खिलाफ याचिका दर्ज होने के बाद सासंद को कोर्ट की तरफ से नोटिस भेजा गया है। इस नोटिस में प्रिंस राज से जवाब मांगा गया है कि उनकी जमानत को क्यों रद्द नहीं किया जाए। इस याचिका पर सुनवाई करते हुए जस्टिस योगेश खन्ना की बेंच ने प्रिंस से जवाब मांगा है। दिल्ली हाईकोर्ट 17 फरवरी 2022 को मामले की अगली सुनवाई करेगी।
जिला कोर्ट से प्रिंस को मिली थी जमानत
महिला के खिलाफ लगाए गए आरोप के बाद सासंद ने दिल्ली की अदालत में अग्रिम जमानत की याचिका दायर की थी। अपनी याचिका में प्रिंस राज ने लिखा था कि महिला पैसे की उगाही के कारण उसपर ये इल्जाम लगा रही है। इस याचिका में सासंद ने ये भी कहा कि उन्होने पहले ही महिला और उसके प्रेमी के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई थी। याचिका की सुनवाई के बाद सासंद प्रिंस को जमानत मिल गई थी।
क्या है पूरा मामला
कथित रेप केस मामले में दिल्ली की राउस एवेन्यू कोर्ट के आदेश के बाद 9 सितंबर को प्रिंस राज पर केस दर्ज कराया गया। महिला ने सासंद प्रिंस पर बेहोशी के हालत में रेप करने का आरोप लगाया था। इसके साथ गी महिला ने एफआईआर में चिराग पासवान का भी नाम लिखवाते हुए उन्हे मामले को लेकर चुप्पी साधने का आरोप लगाया था। हालांकि, प्रिंस राज ने भी युवती के खिलाफ 9 फरवरी 2021 से पहले ही एफआईआर दर्ज करवाया था। इस एफआइआर के अनुसार प्रिंस राज ने आरोप लगाया था कि उन्हें युवती ने हनी ट्रैप (honey trap) के तहत फंसाया और फिर बाद में उस युवती ने अपने दोस्त के साथ एक्सटॉर्शन शुरू कर दिया. उन्हें रेप के झूठे केस में फंसा देने की धमकी दी जा रही थी. हालांकि, प्रिंस राज ने यह माना है कि उन्होंने युवती के साथ सेक्स किया था।
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